भारत का तिलक ” कैलाश”
तुम भारत के मस्तक का तिलक वापस लाओगे,
वादा करो कैलाश का पुनः भारत में विलय कराओगे,
अटक से कटक तक पुनः भगवा लहराओगे,
जीत अभी यह अधूरी है बहुत बड़ी यह दूरी है,
पुरुषार्थ ही साधन होगा,पौरुष ही संसाधन होगा,
गलवांन तो क्या शीघ्र ही कैलाश भी पुनः भारत का होगा,
तुम में छत्रपति शिवाजी एवं महाराणा प्रताप का अंश दिखताहै,
महादेव के शिष्य नरेंद्र, महादेव की प्रतीक्षा पूर्ण करो,
सारंग की टंकार के साथ, कर हुंकार तुम कूच करो,
भारत के मस्तक का तिलक, पुनः भारत को भेंट करो।।
सेवा में
अर्पित मिश्रा
जिला मीडिया प्रभारी
भारतीय जनता युवा मोर्चा
नोएडा महानगर